वाराणसी के अस्पतालों में रखें वेंटिलेटर मरीजों के लिए होंगे उपलब्ध, अब मिलेगा बेहतर इलाज
UP News: वाराणसी के अस्पतालों में कोरोना संकट में केंद्र सरकार की तरफ से वेंटिलेटर भेजे गए थे. हालांकि ऑपरेटर नहीं होने के कारण यह मरीज के लिए 24 घंटे उपलब्ध नहीं हो पा रहे थे.
Varanasi News: वाराणसी सहित पूर्वांचल जनपद के लिए ही नहीं बल्कि बिहार झारखंड पश्चिम बंगाल के भी मरीज के लिए यह जनपद चिकित्सा सुविधा का बहुत बड़ा केंद्र है. वर्तमान समय में वाराणसी में दूसरे शहरों से भी लाखों की संख्या में मरीज विभिन्न रोगों के इलाज के लिए पहुंचते हैं. इसी बीच उन मरीजों को वाराणसी के मंडलीय और जिला अस्पतालों में बड़ी राहत मिलने वाली है.
दरअसल कोरोना काल में वाराणसी के इन अस्पतालों को पर्याप्त संख्या में वेंटिलेटर उपलब्ध कराए गए थे, लेकिन बेहतर ऑपरेटर ना होने की वजह से यह 24 घंटे मरीजों के लिए उपलब्ध नहीं हो पा रहे थे. अब इन वेंटीलेटर को कुशल ऑपरेटर मिलेंगे, जिसकी मदद से गंभीर मरीजों कों बेहतर इलाज मिल सकेगा .
मरीजों के लिए उपलब्ध कराया जाएगा वेंटिलेटर
वाराणसी स्थित पंडित दीनदयाल उपाध्याय राजकीय अस्पताल के सीएमएस डॉक्टर दिग्विजय सिंह ने एबीपी लाइव को जानकारी देते हुए बताया कि हमारे अस्पतालों में वेंटिलेटर की सुविधा उपलब्ध है. गंभीर मरीजों के इलाज के लिए इसे उपलब्ध कराया जाएगा. इसे ऑपरेट करने के लिए कुछ ही दिनों बाद काशी हिंदू विश्वविद्यालय में कर्मचारियों को प्रशिक्षण भी दिया जाएगा. इससे संबंधित पत्र हमें प्राप्त हो चुका हैं.
वहीं जानकारी के अनुसार पंडित दीनदयाल उपाध्याय राजकीय अस्पताल में 33 और वाराणसी के श्री शिव प्रसाद गुप्त कबीर चौरा मंडलीय अस्पताल में 22 वेंटीलेटर की सुविधा मिलेगी. निश्चित ही इससे गंभीर मरीजों को बेहतर चिकित्सा सुविधा देने में काफी सहूलियत मिलेगी और यह उनके लिए एक बड़ी संजीवनी साबित हो सकती है.
कोरोना काल में सरकार की तरफ से दिया गया था वेंटिलेटर
वाराणसी के मंडलीय और जिला अस्पतालों में कोरोना संकट में केंद्र सरकार की तरफ से पर्याप्त संख्या में वेंटिलेटर भेजे गए थे. हालांकि प्रशिक्षित कर्मचारी न होने की वजह से यह मरीज के लिए 24 घंटे उपलब्ध नहीं हो पा रहा था. अगर इन सरकारी अस्पतालों में यह सुविधा उपलब्ध होगी तो निश्चित ही इससे शहर के साथ-साथ दूर दराज के गंभीर मरीजों को भी उचित चिकित्सा उपचार मिल सकेगा.
वैसे लोगों की माने तो बहुत पहले ही कर्मचारियों को प्रशिक्षित कर उन्हें यह सुविधा उपलब्ध कराई जानी चाहिए थी. वैसे अब देखना होगा कि BHU में प्रशिक्षण मिलने के बाद वाराणसी के जिला और मंडलीय अस्पतालों में कब से यह चिकित्सा सुविधा शुरू हो जाती है.
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