UP: स्मारक घोटाले में 57 आरोपियों के खिलाफ चार्जशीट दाखिल, कुशवाहा और नसीमुद्दीन का नाम नहीं
UP News: विजिलेंस ने बहुचर्चित स्मारक घोटाले में 57 आरोपियों के खिलाफ चार्जशीट दाखिल कर दी है. चार्जशीट में बाबू सिंह कुशवाहा और नसीमुद्दीन सिद्दीकी का नाम शामिल नहीं है.
Uttar Pradesh Smarak Ghotala: बसपा सरकार में हुए चर्चित स्मारक घोटाले में विजिलेंस ने एमपी-एमएलए की स्पेशल कोर्ट में 57 आरोपियों के खिलाफ चार्जशीट दाखिल कर दी है. बता दें कि स्मारक घोटाले में ये विजिलेंस की 5वीं चार्जशीट है. हालांकि, चार्जशीट में इस बार भी पूर्व मंत्री बाबू सिंह कुशवाहा और पूर्व लोक निर्माण विभाग मंत्री नसीमुद्दीन सिद्दीकी का नाम शामिल नहीं है.
विजिलेंस अपनी चार्जशीट में अब तक 72 आरोपियों के नाम सामने ला चुका है. इससे पहले जो चार्जशीट दाखिल की गई थी, उसमें खनन निदेशालय के संयुक्त निदेशक व सलाहकार रहे डॉक्टर सोहेल अहमद फारुकी, तत्कालीन खनन निदेशक रामबोध मौर्या समेत कई आईएएस अफसर, राजकीय निर्माण निगम के तमाम अधिकारी और इंजीनियर के साथ ठेकेदार और पत्थर सप्लाई करने वाली फर्मों के संचालक शामिल हैं. 6 आरोपियों को गिरफ्तार करके जेल भी भेजा जा चुका है.
चार्जशीट में कुछ अधिकारियों के खिलाफ धोखाधड़ी और आपराधिक साजिश रचने का आरोप है जबकि कुछ लोगों पर भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत कार्रवाई की गई है. घोटाले की विवेचना लगातार जारी है .कई अन्य लोगों के नाम आगे की चार्जशीट में शामिल किए जाएंगे. स्मारक घोटाले की जांच आईडी भी कर रहा है.
क्या है स्मारक घोटाला?
वर्ष 2007 से 2011 के दौरान लखनऊ और नोएडा में स्मारकों और उद्यान के निर्माण में पत्थरों की खरीद-फरोख्त को लेकर बड़ा घोटाला हुआ था. इस मामले की जांच लोकायुक्त को सौंपी गई थी. लोकायुक्त की जांच में पता चला कि कुल धनराशि का 34% यानी 1400 करोड़ से अधिक की रकम विभागीय मंत्रियों और अधिकारियों की मिलीभगत से हड़प ली गई. लोकायुक्त ने अपनी रिपोर्ट में सभी आरोपियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने की सिफारिश की थी. विजिलेंस ने 1 जनवरी 2014 को गोमतीनगर थाने में इस मामले की एफआईआर दर्ज कराई थी.
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