एक्सप्लोरर

UP Election 2022: क्या आरपीएन से डर गए स्वामी प्रसाद मौर्य? पडरौना छोड़ आखिर क्यों चुनी फाजिलनगर सीट

UP Election 2022: पडरौना के राजा के नाम से मशहूर आरपीएन सिंह के बीजेपी में आने के बाद स्वामी प्रसाद मौर्य ने पडरौनी सीट छोड़कर फाजिल नगर से नामांकन भर दिया है. जानिए इसके पीछे की सबसे बड़ी वज?

UP Election 2022: पडरौना के राजा के नाम से मशहूर आरपीएन सिंह ने जब से कांग्रेस छोड़कर भाजपा का दामन थामा है तभी से लगातार इस बात की चर्चा थी कि पिछड़ी जाति के कद्दावर नेता स्वामी प्रसाद मौर्य अपनी परंपरागत सीट से चुनाव लड़ेंगे या फिर कोई नई सेफ सीट ढूढ़कर वहाँ से चुनाव लड़ेंगे.  इन सभी बातों पर बुधवार को उस समय विराम लग गया जब सपा ने स्वामी प्रसाद को फाजिलनगर विधानसभा सीट से उम्मीदवार घोषित किया. मौर्य के फाजिलनगर से उम्मीदवार बनाये जाने के बाद कहा जा रहा है कि आरपीएन सिंह के डर से स्वामी प्रसाद मौर्य पडरौना विधानसभा छोड़कर फाजिलनगर गए क्योंकि वहां का जातीय समीकरण उनके हिसाब से फिट है. 
 
तीन बार पडरौना से विधायक रह चुके हैं
2009 लोकसभा चुनाव में स्वामी प्रसाद मौर्य पहली बार बसपा प्रत्याशी के रूप में कुशीनगर से एंट्री हुई थी. स्वामी के सामने आरपीएन सिंह कांग्रेस उम्मीदवार थे. चुनाव में स्वामी प्रसाद मौर्य को हार मिली और आरपीएन सिंह चुनाव जीत गए. आरपीएन सिंह के सांसद चुने जाने के बाद खाली हुई विधानसभा सीट पर उपचुनाव हुआ. इस बार कांग्रेस से आरपीएन सिंह की माता मोहिनी देवी और बसपा से स्वामी प्रसाद मौर्य चुनाव लड़े. स्वामी प्रसाद मौर्य ने इस बार चुनाव में आरपीएन सिंह की माता को हराया और पहली बार पडरौना सीट से विधायक चुने गए. इसके बाद 2012 में भी उन्होंने बीएसपी से जीत हासिल की और विधानसभा में नेता विपक्ष बने. 2017 स्वामी प्रसाद ने बीजेपी ज्वाइन कर ली और एक बार फिर पडरौना से जीत हासिल की. जिसके बाद वो योगी सरकार में मंत्री भी बने. 
 
पडरौना का जातीय समीकरण
पडरौना विधानसभा क्षेत्र में 382143 कुल मतदाता हैं. यहां ब्राह्मण मतदाता लगभग 19 प्रतिशत, क्षत्रिय 11 प्रतिशत, वैश्य 8 प्रतिशत, अन्य सामान्य जातियां 3 प्रतिशत, यादव 7 प्रतिशत, कुशवाहा 8 प्रतिशत, सैथवार 5 प्रतिशत, अन्य पिछड़ी जातियां 3 प्रतिशत, अनुसूचित 18 व मुस्लिम 18 प्रतिशत हैं.  
स्वामी प्रसाद मौर्य जब पडरौना सीट से चुनाव लड़े, तो इन्हें 50 फीसद ब्राह्मणों, 10 फीसद क्षत्रिय, 100 फीसद कुशवाहा और अनुसूचित जातियों का वोट मिलता रहा है. पिछली बार 2017 मे जब स्वामी भाजपा के सिंबल से चुनाव लड़े तो इन्हें ब्राह्मणों का सौ फीसद, कुशवाहा 100 फीसद वैश्य, सैथवार और अनुसूचित जातियों का कुल 93649 वोट मिले थे. उस समय समीकरण कुछ और था. 
 
पडरौना में सपा की मुश्किल
स्वामी प्रसाद मौर्य अब समाजवादी पार्टी में शामिल हो गए हैं. ऐसे में यहां का माहौल भी बदल गया है. पडरौना विधानसभा में यादवों के सबसे बड़े नेता बालेश्वर यादव हैं. बालेश्वर यादव वहीं हैं जिन्हें मुलायम सिंह की सरकार में मिनी मुख्यमंत्री कहा जाता था. आज वह पडरौना विधानसभा से अपने बेटे बिजेंद्र पाल यादव उर्फ बबलू यादव को चुनाव लड़ाने की तैयारी में हैं. अगर बिजेंद्र पाल यादव को पडरौना विधानसभा से सपा उम्मीदवार न बना कर स्वामी प्रसाद मौर्य को उम्मीदवार बनाती तो सपा में एक बड़े विद्रोह की आशंका बन जाती और वो बगावत कर सकते थे. बालेश्वर के साथ यादवों और मुसलमानों का पूरा समर्थन है. मौर्य के पडरौना सीट को छोड़ने का एक बड़ा कारण यह भी हो सकता है. कुशवाहा समाज के आधे मतदाता भी उनसे नाराज बताए जा रहे हैं. 
 
फाजिलनगर का जातीय समीकरण
पडरौना से तीन बार विधायक रहने के बाद भी मौर्य ऐसे ही नही फाजिलनगर की सेफ सीट पर पहुँचे हैं, बल्कि जातिगत समीकरण देखकर उन्होंने इस सीट का चुनाव किया है. फाजिलनगर सीट में 398835 मतदाता हैं. इनमें ब्राह्मण 10 फीसद, क्षत्रिय 7 फीसद, वैश्य 8 फीसद, अन्य सामान्य 8 फीसद, यादव 6 फीसद, कुशवाहा 13 फीसद, सैथवार 9 फीसद , अन्य पिछड़ी 7 फीसद, अनुसूचित जातियां 17 प्रतिशत व मुस्लिम 15 प्रतिशत हैं. यहां कुशवाहा, यादव और मुस्लिम मतदाताओं का अच्छा समीकरण है. कुशवाहा मतदाताओं की संख्या को देखते हुए ही भाजपा ने लगातार दो बार से विधायक रहे गंगा सिंह कुशवाहा के बेटे सुरेंद्र कुशवाहा को पार्टी का उम्मीदवार बनाया है. स्वामी प्रसाद मौर्य को फाजिलनगर सेफ सीट नजर आ रही है। मौर्य ने अपने बेटे उत्कृष्ट मौर्य को दो दिन तक यहां सर्वे के लिए भेजा था. लोगों का समर्थन मिलने के बाद ही स्वामी फाजिलनगर से उम्मीदवार घोषित किये गए हैं. उन्हें लगता है कि सपा का वोटर (यादव+मुस्लिम) जो लगभग 21 प्रतिशत है और कुशवाहा 13 फीसद हैं इसको जोड़ लिया गया तो विधानसभा की राह आसान बन जाएगी. 
 
मौर्य मुसीबतें कम नहीं
हालांकि स्वामी प्रसाद मौर्य की सपा से फाजिलनगर की राह आसान नही होगी क्योंकि यहां सपा से एक मुस्लिम नेता पहले से टिकट की दावेदारी कर रहे थे, जिन्होंने टिकट करने के बाद मौर्य पर बाहरी होने का आरोप लगाकर विरोध शुरू कर दिया है. भाजपा ने यहां से कुशवाहा प्रत्याशी खड़ा किया है. ऐसे में मुस्लिम और कुशवाहा समाज के लोग मौर्य से छिटक सकते हैं. 
 
पडरौना आरपीएन सिंह का मजबूत गढ़
आरपीएन सिंह के भाजपा में जाने के बाद पडरौना में मौर्य का विरोध भी हो रहा है. आरपीएन सिंह कांग्रेस में रहते हुए 3 बार विधायक और एक बार सांसद रहे. वो यहां के मजबूत नेता हैं. लगभग 25 हजार मतदाता आरपीएन सिंह के साथ रहता है. अब वह भाजपा में आ गए हैं तो उनकी ताकत दो गुना बढ़ गई है. स्वामी प्रसाद मौर्य को लग रहा था कि आरपीएन सिंह को हराना आसान नही है। अगर मौर्य पडरौना विधानसभा से चुनाव लड़ते तो समीकरण बताते हैं कि हारने का खतरा ज्यादा होता. इसलिए उन्होंने फाजिलनगर की सेफ सीट पर जाना बेहतर समझा. 
और देखें
Advertisement
Advertisement
25°C
New Delhi
Rain: 100mm
Humidity: 97%
Wind: WNW 47km/h
Advertisement

टॉप हेडलाइंस

रूस का बड़ा ऐलान- हमने बना ली कैंसर की वैक्सीन, सबको फ्री में मिलेगी
रूस का बड़ा ऐलान- हमने बना ली कैंसर की वैक्सीन, सबको फ्री में मिलेगी
'कान खोलकर समझ लें, वो हमारे भगवान, मांगें माफी', अमित शाह के बाबा साहेब आंबेडकर वाले कमेंट पर खरगे हुए फायर
'कान खोलकर समझ लें, वो हमारे भगवान, मांगें माफी', अमित शाह के बाबा साहेब आंबेडकर वाले कमेंट पर खरगे हुए फायर
Maharashtra Weather: महाराष्ट्र में शीतलहर की मार, कश्मीर जैसी पड़ रही ठंड! इतना पहुंच गया पारा
महाराष्ट्र में शीतलहर की मार, कश्मीर जैसी पड़ रही ठंड! इतना पहुंच गया पारा
अरे कोई जहर लाकर दे दो! दूल्हा और दुल्हन का एंट्री डांस देखकर बाल नोच लेंगे आप, हर तरफ हो रही किरकिरी
अरे कोई जहर लाकर दे दो! दूल्हा और दुल्हन का एंट्री डांस देखकर बाल नोच लेंगे आप, हर तरफ हो रही किरकिरी
Advertisement
ABP Premium

वीडियोज

दिन की बड़ी खबरेंएक देश-एक चुनाव की 'तारीख' पर तल्खीसंसद में Congress पर शाह का जोरदार हमलाएक देश एक चुनाव कब तारीख आ गई?

फोटो गैलरी

पर्सनल कार्नर

टॉप आर्टिकल्स
टॉप रील्स
रूस का बड़ा ऐलान- हमने बना ली कैंसर की वैक्सीन, सबको फ्री में मिलेगी
रूस का बड़ा ऐलान- हमने बना ली कैंसर की वैक्सीन, सबको फ्री में मिलेगी
'कान खोलकर समझ लें, वो हमारे भगवान, मांगें माफी', अमित शाह के बाबा साहेब आंबेडकर वाले कमेंट पर खरगे हुए फायर
'कान खोलकर समझ लें, वो हमारे भगवान, मांगें माफी', अमित शाह के बाबा साहेब आंबेडकर वाले कमेंट पर खरगे हुए फायर
Maharashtra Weather: महाराष्ट्र में शीतलहर की मार, कश्मीर जैसी पड़ रही ठंड! इतना पहुंच गया पारा
महाराष्ट्र में शीतलहर की मार, कश्मीर जैसी पड़ रही ठंड! इतना पहुंच गया पारा
अरे कोई जहर लाकर दे दो! दूल्हा और दुल्हन का एंट्री डांस देखकर बाल नोच लेंगे आप, हर तरफ हो रही किरकिरी
अरे कोई जहर लाकर दे दो! दूल्हा और दुल्हन का एंट्री डांस देखकर बाल नोच लेंगे आप, हर तरफ हो रही किरकिरी
MI का धांसू प्लेयर बना न्यूजीलैंड का नया कप्तान, केन विलियमसन को किया रिप्लेस
MI का धांसू प्लेयर बना न्यूजीलैंड का नया कप्तान, केन विलियमसन को किया रिप्लेस
ओवर ईटिंग की समस्या से हैं परेशान? स्वामी रामदेव ने बताया कंट्रोल करने का तरीका
ओवर ईटिंग की समस्या से हैं परेशान? स्वामी रामदेव ने बताया कंट्रोल करने का तरीका
एग्रीस्टैक परियोजना के तहत 37 लाख किसानों की बनी किसान आईडी, ये काम भी हुआ पूरा
एग्रीस्टैक परियोजना के तहत 37 लाख किसानों की बनी किसान आईडी, ये काम भी हुआ पूरा
Maharashtra: देवेंद्र फडणवीस की सरकार के लिए संजय राउत ने की राहत भरी भविष्यवाणी, ऐसा क्या कह दिया?
देवेंद्र फडणवीस की सरकार के लिए संजय राउत ने की राहत भरी भविष्यवाणी, ऐसा क्या कह दिया?
Embed widget