Year Ender 2023: समाजवादी पार्टी (Samajwadi Party) के राष्ट्रीय महासचिव शिवपाल यादव (Shivpal Yadav) इन दिनों लोकसभा चुनाव की तैयारियों में जुटे हैं. यूपी में सपा सबसे बड़ा विपक्षी दल हैं ऐसे में सपा यूपी में 'इंडिया' गठबंधन की कमान संभाल सकती है, वहीं लोकसभा चुनाव से पहले अखिलेश यादव (Akhilesh Yadav) के चाचा शिवपाल यादव को भी अहम जिम्मेदारियां मिल सकती है. सपा में वापसी के बाद शिवपाल लगातार पार्टी को मजबूत बनाने के काम कर रहे हैं.
एक वक्त था जब सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव और चाचा शिवपाल यादव के बीच तल्खियां इतनी ज़्यादा बढ़ गईं थीं कि शिवपाल ने अपनी एक अलग पार्टी तक बना ली थी. पिछले साल सपा के संस्थापक मुलायम सिंह यादव के निधन के बाद अखिलेश और शिवपाल के बीच जमी बर्फ पिघलने लगी और डिंपल यादव की कोशिशों के बाद दोनों के बीच बातचीत शुरू हुई.
पिछले साल के आखिर में मैनपुरी सीट पर उपचुनाव हुए, जिसपर जीत हासिल करने के लिए शिवपाल यादव ने दिन रात एक कर दिए, जिसका नतीजा ये हुआ कि डिंपल यादव ने यहां रिकॉर्डतोड़ अंतर से जीत हासिल की. इस जीत के बाद शिवपाल यादव की फिर से सपा में वापसी हो गई. सपा अध्यक्ष ने प्रेस कॉन्फ़्रेंस कर शिवपाल के सपा में शामिल होने का एलान किया.
सपा में वापसी के बाद मिली अहम ज़िम्मेदारी
शिवपाल यादव की न सिर्फ़ सपा में वापसी हुई बल्कि उन्होंने पार्टी में अहम जिम्मेदारी दी गई. इस साल जनवरी में जब सपा ने चुनाव को देखते हुए नई कार्यकारिणी का एलान किया तो सपा में शिवपाल यादव का क़द और बढ़ा, इसके बाद उन्होंने पार्टी में राष्ट्रीय महासचिव बनाया गया, इसके साथ ही उन्हें यूपी का प्रभारी भी बनाया गया. शिवपाल यादव अब सपा में अखिलेश यादव के बाद दूसरे नंबर पर आते हैं. इसके साथ ही उनके बेटे आदित्य यादव को भी पार्टी में अहम ज़िम्मेदारियाँ दी गईं हैं. आदित्य लगातार पार्टी को मज़बूत बनाने का काम कर रहे हैं.
शिवपाल यादव का कद बढ़ा
सपा में जैसे-जैसे शिवपाल यादव का क़द बढ़ा उन्होंने अपनी ज़िम्मेदारियों को भी बख़ूबी निभाया. घोसी उपचुनाव को जीतने के लिए भी उन्होंने पूरी जान लगा दी, चुनाव के दौरान शिवपाल ने वहीं डेरा डाल दिया और जमकर चुनाव प्रचार किया. यहां पर भी शिवपाल यादव की मेहनत रंग लाई और पार्टी ने बड़ी जीत हासिल की.
सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव भी शिवपाल यादव पर पूरा भरोसा करते हैं. पार्टी में उम्मीदवारों को चयन हो या फिर पार्टी से जुड़े अन्य बड़े फ़ैसले शिवपाल की उसमें अहम भूमिका रहती है. यही नहीं वो लगातार पार्टी को मज़बूत बनाने में लगे हुए हैं और प्रदेश के तमाम हिस्सों में जाकर कार्यकर्ताओं में नया जोश भरने में जुटे हैं. अब जबकि लोकसभा चुनाव नज़दीक आ रहे हैं तो ऐसे में उनकी भूमिका और अहम होने की उम्मीद है.