यूपी: जमीनों के रिकॉर्ड अपडेट करने के लिये योगी सरकार ने चलाया 'वरासत अभियान', जारी किये दिशा-निर्देश
यूपी में योगी सरकार गांव में जमीनों से जुड़े अभिलेखों को लिखित रूप से दर्ज कराने के लिये 15 दिसंबर से विशेष अभियान शुरू किया है. इसके तहत जमीन से जुड़े विवाद और उत्तराधिकार जैसे मामलों पर लगाम कसी जाएगी.
लखनऊ: उत्तर प्रदेश में निर्विवाद उत्तराधिकार को खतौनियों में दर्ज करने के लिए सभी ग्राम सभाओं में वरासत अभियान संचालित किया जा रहा है. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने वरासत अभियान को समयबद्ध संचालित करने के निर्देश दिये हैं.
यहां शनिवार को जारी सरकारी बयान के अनुसार मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए कि राजस्व विभाग द्वारा लोगों की सुविधा को ध्यान में रखते हुए वरासत के सम्बन्ध में एक हेल्पलाइन बनाई जाए, इसके अलावा एक ई-मेल आईडी भी जारी की जाए.
उन्होंने कहा कि अभियान के बाद शासन स्तर से जिलों में टीम भेजकर यह पुष्टि भी की जाए कि कहीं निर्विवाद उत्तराधिकार का कोई प्रकरण खतौनियों में दर्ज होने से शेष तो नहीं है. मुख्यमंत्री ने कहा कि तहसील दिवस और थाना दिवस का आयोजन पूरी संवेदनशीलता से करते हुए जन समस्याओं का गुणवत्तापरक निस्तारण सुनिश्चित किया जाए. गौरतलब है कि विशेष वरासत अभियान 15 दिसम्बर से 15 फरवरी तक संचालित किया जा रहा है.
अफसरों की जवाबदेही तय
राज्य सरकार ने भू-अभिलेखों को अपडेट करने के संबंध में शासनादेश जारी कर दिया है. इसके तहत जिम्मेदार अधिकारियों को आवश्यक निर्देश दे दिए गए हैं. आदेश के अनुसार, वरासत दर्ज कराने के लिए लोगों को भागदौड़ करने की जरूरत नहीं है, बल्कि राजस्व विभाग खुद विरासत दर्ज कराएगा. इसके लिए मुख्यमंत्री ने विभाग की जवाबदेही तय की है. उन्होंने कहा कि निर्धारित समय-सीमा के भीतर वरासत दर्ज न करने वाले अधिकारियों और कर्मचारियों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी.
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