सरकार ने बुधवार को कहा कि उसने साइबर अपराधों को नियंत्रित करने के प्रयास में 15 नवंबर, 2024 तक 6.69 लाख सिम कार्ड और 1,32,000 आईएमईआई नंबर को ‘ब्लॉक’ किया है. महिला और बाल विकास राज्य मंत्री सावित्री ठाकुर ने राज्यसभा में एक प्रश्न के लिखित उत्तर में यह जानकारी दी.


उन्होंने बताया कि कानून लागू करने वाली एजेंसियों और न्यायिक अधिकारियों की क्षमताओं को उन्नत बनाने के साथ ही साइबर अपराधों से निपटने की व्यापक रणनीति के तहत ऐसे प्रयास किए जा रहे हैं.



9.94 लाख शिकायतों का समाधान किया- सरकार


केंद्र सरकार ने बुधवार को लोकसभा को बताया कि राष्ट्रीय साइबर अपराध रिपोर्टिंग पोर्टल ने 9.94 लाख शिकायतों के समाधान के माध्यम से 3,431 करोड़ रुपये से अधिक की बचत करने में मदद की है.


'नागरिक वित्तीय साइबर धोखाधड़ी रिपोर्टिंग और प्रबंधन प्रणाली' स्वचालित रूप से साइबर अपराध की घटनाओं को आगे की कार्रवाई के लिए संबंधित राज्य-स्तरीय कानून प्रवर्तन एजेंसियों को भेजती है. ‘साइबरक्राइम डॉट जीओवी डॉट इन’ पोर्टल का उद्देश्य वित्तीय धोखाधड़ी की तत्काल रिपोर्टिंग को सक्षम बनाना और धोखेबाजों द्वारा धन की हेराफेरी को रोकना है. खाद्य एवं उपभोक्ता मामलों के राज्य मंत्री बी एल वर्मा ने एक प्रश्न के लिखित उत्तर में वित्तीय साइबर अपराधों से निपटने में पोर्टल की प्रभावशीलता पर प्रकाश डाला.


गृह मंत्रालय ने सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को पोर्टल और इसके टोल-फ्री हेल्पलाइन नंबर 1930 के प्रचार के लिए सलाह जारी की है.


देश में लगातार बढ़ रहे हैं साइबर अपराध


बता दें कि देश में लगातार साइबर अपराधों में बढ़ोतरी देखने को मिल रही है. फ्रॉडस्टर नए-नए तरीकों से लोगों को ठगने का प्रयास कर रहे हैं. कई बार वो प्रयास में सफल हो जाते हैं और लोगों को वित्तीय नुकसान हो जाता है. इससे बचने लिए सरकार समय-समय पर लोगों को जागरूक करने के लिए अभियान चलाती रहती है ताकि साइबर धोखाधड़ी में होने वाले नुकसान को कम से कम किया जा सके. 


 


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