(Source: ECI/ABP News/ABP Majha)
ऑनलाइन बुक करते हैं डॉक्टर की अपॉइंटमेंट तो ये मिस्टेक बिलकुल मत करना, बिना OTP खाली हो रहा अकाउंट
दिल्ली की एक महिला ऑनलाइन डॉक्टर की अपॉइंटमेंट बुक कर रही थी कि तभी उसे 60,000 से ज्यादा का चूना लग गया. न अपॉइंटमेंट बुक हुई और न पैसा बचा.
इंटरनेट ने भले ही हमारी जिंदगी पहले से ज्यादा आसान और सरल बना दी है लेकिन दूसरी तरफ कई मुश्किलें भी खड़ी हो गई हैं. हम एक क्लिक पर खाना, शॉपिंग, फ्लाइट, होटल आदि तो बुक कर ही पाते हैं लेकिन एक गलत क्लिक हमारी नींद भी उड़ा सकता है. डॉक्टर के पास अगर इलाज के लिए जाना तो लोग ऑनलाइन अपॉइंटमेंट बुक करना पसंद करते हैं जिससे समय और पैसा दोनों बचे. अगर आप भी ऑनलाइन अपॉइंटमेंट बुक करते हैं तो इस खबर को ध्यान से पढ़ें. ऐसा इसलिए क्योंकि दिल्ली की एक महिला ने ऑनलाइन अपॉइंटमेंट बुक करने के चक्कर में अपने 60,000 रुपये स्कैमर्स के हाथ चढ़ा दिए.
दिल्ली की Tabasassum Qureshi जोकि पेशे से एक टेलीविजन प्रड्यूसर हैं उन्हें ऑनलाइन डॉक्टर की अपॉइंटमेंट बुक करने के चक्कर में 60,000 से ज्यादा का नुकसान हो गया. ANI कि एक रिपोर्ट के मुताबिक 29 दिसंबर 2022 को Tabasassum Qureshi एक ऑनलाइन अपॉइंटमेंट बुक कर रही थी. उन्होंने गूगल से डॉक्टर के क्लीनिक का नंबर निकाला और उस पर कॉल मिलाई लेकिन कॉल कनेक्ट नहीं हुई. कुछ देर बाद Tabasassum Qureshi को एक फोन कॉल आया जिसमें सामने वाले व्यक्ति ने खुद को क्लीनिक का स्टाफ मेंबर बताया और अपॉइंटमेंट बुक होने का Assurance दिया. पुलिस कंप्लेंट में महिला ने बताया कि उन्होंने गूगल से डॉ सुष्मिता सेन का प्राइवेट क्लीनिक नंबर लिया था लेकिन पहली बार में कॉल नहीं लगा. इसके बाद उन्हें अननोन नंबर से एक कॉल आया और व्यक्ति ने महिला को अपॉइंटमेंट बुक होने का भरोशा दिलाया और अनाथ बच्चों के लिए डोनेट करने को कहा. व्यक्ति ने महिला के नंबर पर एक लिंक भेजा. इस पर Qureshi ने क्लिक किया और सारी इम्पोर्टेन्ट डिटेल भर पेमेंट करनी चाही लेकिन पेमेंट नहीं हुई. इसके बाद Tabasassum Qureshi ने उसके सिस्टर इन लॉ का मोबाइल फोन पेमेंट के लिए इस्तेमाल किया लेकिन पेमेंट फिर भी नहीं हुई.
कुछ देर बाद कुरैशी को एक बैंक एसएमएस मिला जिसमें उनके अकाउंट से 51,900 रुपये कट गए थे. इसके कुछ देर बाद फिर उन्हें एक एसएमएस मिला जिसमें अकाउंट से 10,000 रुपये कटने की बात लिखी थी. इस तरह बिना ओटीपी शेयर किए Tabasassum Qureshi को 60,000 रुपये से ज्यादा का नुकसान हो गया.
फिर आखिर कैसे हुआ स्कैम?
दरअसल, जब कॉल पर स्कैमर ने महिला के साथ लिंक शेयर किया तो वह किसी अनाथ बच्चों से जुड़ा लिंक नहीं था बल्कि स्कैमर उस लिंक के जरिए महिला की निजी जानकारी हासिल कर रहा था. जानकारी मिलते ही उसने फ्रॉड को अंजाम दे दिया. इस तरह के लिंक को फिशिंग लिंक कहा जाता है जहां पर स्कैमर लोगों की निजी जानकारी किसी दूसरी वजह को सामने रखकर चुराते हैं. जैसे कि इस केस में व्यक्ति ने अनाथ बच्चों का हवाला देकर महिला से उसकी निजी जानकारी चुरा ली.
ध्यान रखें, कभी भी ऑनलाइन किसी भी व्यक्ति को अपनी निजी जानकारी या एड्रेस,बैंक डिटेल आदि कुछ भी किसी भी परिस्थिति में शेयर न करें. विशेषकर लेन-देन से जुड़ी जब भी बात आए तो किसी भी व्यक्ति पर भरोसा न करें.
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