Pegasus: सऊदी की इस महिला ने पहली बार पकड़ा था जासूस पेगासस, आईफोन हैक होने के बाद दुनियाभर में मची हलचल
Pegasus Exposed : आपने पेगासस (Pegasus) के बारे में खूब पढ़ा होगा, सुना होगा. लेकिन क्या आप जानते हैं कि पहली बार इस स्पाईवेयर का पता किसने लगाया. कैसे इस छिपे हुए स्पाईवेयर का पता चला. आइए जानते हैं.
How Pegasus Exposed : कुछ समय पहले पेगासस (Pegasus) खूब सुर्खियों में था. इसकी वजह इसका धांसू स्पाईवेयर था जो बिना भनक दिए दुनियाभर में कई बड़े लोगों की जासूसी कर रहा था. मामले सामने आया तो खूब हंगामा हुआ. इस सॉफ्टवेयर की खासियत पर भी खूब बात हुई. लेकिन क्या आप जानते हैं कि इस सॉफ्टवेयर का पता इसकी एक खामी की वजह से ही लगा था. इसका पता लगने के बाद इसे बनाने वाले NSO Group की मुसीबत बढ़ गई. एक महिला की शिकायत पर इसके खिलाफ वॉशिंगटन (Washington) में कानूनी कार्ऱवाई भी चल रही है. चलिए आपको बताते हैं कहां से इस रहस्य का पर्दा हटा था और कैसे.
यहां से शुरू हुआ शक
रिपोर्ट के मुताबिक, सऊदी अरबिया की एक महिला एक्टिविस्ट Loujain Al-Hathloul एक दिन अपना फोन चेक कर रही थीं. अचानक उनकी नजर गैलरी पर पड़ी, जिसमें एक ऐसी फोटो थी, जो उन्होंने नहीं डाली थी. उन्होंने पड़ताल की तो पता चला कि यह जासूसी सॉफ्टवेयर Pegasus की वजह से है. उन्हें ये भी पता चल गया कि इस सॉफ्टवेयर ने उनका आईफोन हैक किया था. इसलिए यह फोटो उनके फोन में थी.
इस तरह चला पता
अब उन्होंने आगे पड़ताल की तो उनके हाथ जीमेल का एक मेल मिला, जिसमें लिखा था कि हैकर्स आपके जीमेल अकाउंट को हैक करने की कोशिश कर रहे हैं. यह चेक करने के लिए कि आईफोन सच में हैक हुआ है या नहीं, उन्होंने कनाडा के प्राइवेसी राइट ग्रुप Citizen Lab से संपर्क किया. इस कंपनी ने 6 महीने तक उनका आईफोन चेक किया तो पता चला कि उनका फोन हैक हुआ था. कंपनी के रिसर्चर Bill Marczak ने उनको जानकारी दी कि आपके फोन में एक सर्विलांस सॉफ्टवेयर डाला गया था और इससे डिवाइस से मैसेज चुराया जाता है. इस मामले के सामने आने के बाद दुनियाभर में खलबली मच गई. धीरे-धीरे कई कंपनियों ने चेक कराना शुरू कर दिया. इसके कुछ दिन बाद ही दुनियाभर में इसके द्वारा जासूसी करने के कई खुलासे हुए.
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