(Source: ECI/ABP News/ABP Majha)
क्या होती है Vishing? कैसे इसके जरिए आपको बनाया जाता है ठगी का शिकार, इससे बचने का तरीका जानें
Vishing के जरिए आपके बैंक अकाउंट संबंधी जानकारियां जमा कर आपको ठगी का शिकार बनाया जाता है. इससे बचने का तरीका हम आपको बता रहे हैं.
क्या आपने कभी Vishing के बारे में सुना है? अगर नहीं सुना है तो हम आपको Vishing के बारे में बेहद अहम जानकारी देने जा रहे हैं. हम आपको बताएंगे कैसे फिशिंग के सहारे आपको फ्रॉड का शिकार बनाया जाता है और इससे बचने के लिए आपको क्या तरीका अपनाना चाहिए.
फिशिंग का इस्तेमाल फ्रॉड करने वाले लोग करते हैं. ये लोग फोन कॉल के जरिए आपकी महत्वपूर्ण और निजी जानकारियों को चुरा लेते हैं और आपको फ्राड का शिकार बनाते हैं. इन जानकारियों में आपकी बैंक यूजर आई, लॉग इन आईडी, पासवर्ड, ओटीपी, यूनिक रजिस्ट्रेशन नंबर, कार्ड पिन, सीवीवी और आपके जन्मदिन से जुड़ी हुई बातें शामिल रहती हैं.
अक्सर फिशिंग करने वाले लोग आपको फोन करने के बाद अपनी पहचान बैंक अधिकारी के रूप में करवाते हैं. आप बैंक अकाउंट के बंद होने का फिर उसमें बदलाव करने का बहाना देकर फिशिंग करने वाले लोग आपकी महत्वपूर्ण जानकारियां जमा कर लेते हैं. इन जानकारियों का इस्तेमाल बाद में आपके बैंक अकाउंट से पैसे निकालने के लिए किया जाता है.
फिशिंग से बचने के लिए यह तरीका अपनाएं
किसी भी अनजान नंबर से आया हुआ कॉल अगर आपकी किसी भी निजी जानकारी जैसे बैंक यूजर आई, लॉग इन आईडी, पासवर्ड, ओटीपी, यूनिक रजिस्ट्रेशन नंबर, कार्ड पिन, सीवीवी और आधर कार्ड के बारे में पूछता है तो आपको सावधान होने की जरूरत है. आप ऐसे किसी कॉल में अपनी कोई भी जानकारी शेयर नहीं करें और तुरंत कॉल के बारे में रिपोर्ट करें या फिर अपने बैंक को इस बात की जानकारी दें.
इसके साथ ही अपने बैंक खाते की रकम भी तुरंत चैक कर लें. अगर आप उसमें किसी तरह की कटौती पाते हैं तो बैंक को उसकी शिकायत जरूर कर दें.