क्या Smartphone से मैसेज डिलीट करना है अपराध? सभी मोबाइल यूजर्स को जानना चाहिए सुप्रीम कोर्ट का ये फैसला
Supreme Court on Smartphone Deleted Messages: स्मार्टफोन से मैसेज और कॉल को डिलीट करने को सबूतों से छेड़छाड़ के तौर पर पेश किया गया है. हालांकि सुप्रीम कोर्ट से इस मामले में खास फैसला दिया है.
Supreme Court on Smartphone Deleted Messages: आजकल ज्यादातर इंसानों के हाथों में स्मार्टफोन मौजूद है. वहीं जब कभी कहीं पर अपराध होता है तो सबसे पहले अपराधी के स्मार्टफोन को खंगाला जाता है कि कहीं कोई सबूत मिल जाए. लेकिन कई बार फोन से मैसेज, फोटो या वीडियो को डिलीट कर दिया जाता है. ऐसे ही एक मामले में सुप्रीम कोर्ट के सामने मोबाइल में डिलीटेड मैसेज को आधार बनाया गया है. स्मार्टफोन (Smartphone) से मैसेज और कॉल को डिलीट करने को सबूतों से छेड़छाड़ के तौर पर पेश किया गया है. हालांकि सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court Of India) से इस मामले में कहा कि स्मार्टफोन से मैसेज को डिलीट करना कोई अपराध नहीं माना जाता है.
कोर्ट ने क्या कहा?
आपकी जानकारी के लिए बता दें कि सुप्रीम कोर्ट ने माना कि आज के समय में लोग तेजी से पुरानी टेक्नोलॉजी से नए तकनीक की ओर शिफ्ट हो रहे हैं. ऐसे में लोग पुराने स्मार्टफोन से नए स्मार्टफोन में शिफ्ट हो जाते हैं. ऐसे में पुराने फोन में मौजूद लिंक, फोटो, मैसेज या वीडियो डिलीट हो सकते हैं. जस्टिस बी आर और केवी विश्वनाथन की पीठ ने कहा कि मोबाइल को समय-समय पर अपग्रेड किया जाता है, जिसकी वजह से फोन में पुराने मैसेज डिलीट हो सकते हैं. साथ ही कोर्ट ने स्मार्टफोन को एक प्राइवेट चीज माना है. इसीलिए स्मार्टफोन में प्राइवेसी की वजह से भी मैसेज और अन्य डॉक्यूमेंट्स या वीडियोज, फोटो को डिलीट कर दिया जाता है.
इसके साथ ही मोबाइल एक्सपर्ट की कहते हैं कि समय-समय पर फोन से गैरजरुरी मैसेज, फोटोज और वीडियोज को डिलीट करते रहना चाहिए. क्योंकि ज्यादा स्टोरेज होने से कई बार फोन की स्पीड कम हो जाती है. इसीलिए फोन की स्पीड को बढ़ाने के लिए नियमित रूप से फोन को खाली करने की सलाह दी जाती है.
मोबाइल को लेकर नया नियम
आपकी जानकारी के लिए बता दें कि हालही में केंद्र सरकार की ओर से आईटी एक्ट में बदलाव करके नए नियम को ऐड किया गया है. यह बदलाव खासतौर पर सोशल मीडिया पर लगाम लगाने के लिए किया गया है. वहीं मोबाइल फोन के लिए भारतीय संविधान के धाराओं के हिसाब से ही कार्रवाई की जाती है.
नए नियमों के अनुसार, अगर कोई भी व्यक्ति अपने मोबाइल से कॉल या फिर मैसेज करके किसी को धमकाता है तो भारतीय कानून के तहत उसपर जुर्माना लगाया जा सकता है. साथ ही उसे जेल की हवा भी खानी पड़ सकती है. साथ ही सुप्रीम कोर्ट के फैसले के अनुसार सोशल मीडिया या मोबाइल फोन पर किसी रेप पीड़िता के नाम और फोटो को शेयर करना भी कानूनन अपराध माना जाएगा. ऐसा करने पर व्यक्ति के खिलाफ सख्त कार्यवाई की जाएगी.
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