(Source: ECI/ABP News/ABP Majha)
प्राइवेसी के चक्रव्यूह में फंसा व्हाट्सऐप, डैमेज कंट्रोल में लगा
व्हाट्सऐप की नई प्राइवेसी पॉलिसी के तहत कंपनी यूजर्स का डेटा फेसबकु के साथ शेयर करेगी. पिछले कुछ दिनों से इस नई प्राइवेसी पॉलिसी को लेकर विवाद हो रहा है. वहीं इस पर सफाई देने के लिए व्हाट्सऐप अब अखबारों में इश्तिहार का सहारा ले रहा है.
नई दिल्ली: प्राइवेसी के चक्रव्यूह में सोशल मैसेजिंग प्लेफॉर्म व्हाट्सऐप कुछ ऐसा फंसा है कि अब न निगलते बन रहा है और न उगलते. व्हाट्सऐप ने अपनी नई प्राइवेसी पॉलिसी को जैसे ही लागू करने के बात कही, वैसे ही सोशल मीडिया से लेकर आम लोगों के बीच यह चर्चा का विषय बन गयी. टेस्ला प्रमुख एलेन मस्क के एक ट्वीट ने आग में घी का काम कर दिया. बस फिर क्या था.... व्हाट्सएप डैमेज कंट्रोल मोड में आ गई. कंपनी को कई राउंड की सफाई के बाद आज देश के प्रमुख अखबारों में विज्ञापन तक देना पड़ गया.
व्हाट्सऐप ने हाल ही में एक पॉलिसी में बदलाव किया था. व्हाट्सऐप ने इस बदलाव के तहत फेसबुक के डेटा कलेक्शन के लिए ग्राहकों को दिए जाने वाले "ऑप्ट आउट" के विकल्प को हटा दिया. यानी, अब व्हाट्सएप यूज़र्स के पास ये विकल्प नहीं बचा की वो फेसबुक के साथ डेटा शेयर करना चाहते हैं या नहीं. यूज़र्स ने इसका मतलब तुरंत निकाल लिए की उनका डेटा फेसबुक के साथ शेयर किया जाएगा. यहीं से पूरा विवाद शुरू हो गया. इसके बाद व्हाट्सएप ने अपना पक्ष सामने रखते हुए कहा कि यह प्राइवेसी सेटिंग सिर्फ बिजनेस ग्राहकों के लिए है.
आमतौर पर जो व्हाट्सएप आप और हम इस्तेमाल करते हैं उस पर इसका कोई असर नहीं पड़ेगा. साथ ही साथ व्हाट्सएप ने यह भी साफ किया कि आपके और हमारे कोई भी मैसेज नहीं पढ़े जा सकते हैं क्योंकि यह सभी एंड टू एंड एनक्रिप्टेड हैं. लेकिन जानकार अब व्हाट्सएप की सफाई पर भी सवाल उठा रहे हैं.
द मोबाइल इंडियन के एडिटर संदीप बुड़की ने क्या कहा द मोबाइल इंडियन के एडिटर संदीप बुड़की का कहना है कि व्हाट्सऐप ने पहले यह नहीं कहा था कि नई प्राइवेसी सेटिंग सिर्फ बिजनेस यूजर्स के लिए है. ऐसे में अब जब कंपनी यह बात कह रही है तो उन पर्सनल यूजर्स का क्या होगा जिन्होंने कंपनी की नई सेटिंग पर हामी दे दी है. क्या उनका डेटा कंपनी फेसबुक और इंस्टाग्राम जैसे प्लेटफॉर्म्स पर टारगेट एडवरटाइजमेंट के लिए इस्तेमाल करेगी या नहीं? ये अब एक नया सवाल आ खड़ा हुआ है. इस पर अभी तक व्हाट्सऐप ने कोई सफाई नहीं दी है. कुल मिलाकर देखें तो व्हाट्सऐप अब कदम पीछे खींच रहा है. लेकिन, इससे और ज़्यादा भ्रम ही फैल रहा है.
दरअसल, व्हाट्सऐप ने जो प्राइवेसी पालिसी में बदलाव किया था, उसके जरिये अपनी दूसरी कंपनियों फेसबुक और इंस्टाग्राम पर टारगेट एडवरटाइजमेंट को बढ़ाने की मंशा थी. लेकिन, अब इस पूरे मसले पर व्हाट्सऐप घिरता हुआ नजर आ रही है.
जाने माने साइबर एक्सपर्ट पवन दुग्गल ने क्या कहा जाने माने साइबर एक्सपर्ट पवन दुग्गल का कहना है कि जो व्हाट्सऐप ने आज विज्ञापन के जरिए कहा है वह सिर्फ आंखों में धूल झोंकने वाला है. व्हाट्सऐप की प्राइवेसी पॉलिसी पर आज भी कहीं यह नहीं लिखा हुआ है कि यह सिर्फ बिजनेस अकाउंट के लिए है. यूजर्स इस बात का ध्यान रखें कि व्हाट्सऐप ना सिर्फ फेसबुक और इंस्टाग्राम के साथ बल्कि हो सकता है कि थर्ड पार्टी के साथ भी डाटा को भविष्य में शेयर करे.
दुग्गल कहते हैं कि व्हाट्सऐप की नई पॉलिसी यह कहती है कि आपके पर्सनल डाटा को भी शेयर किया जाएगा. दुग्गल कहते हैं कि जिन लोगों ने नई प्राइवेसी पालिसी एक्सेप्ट कर ली उन्होंने अपने हाथ काट लिए हैं. दुग्गल कहते हैं कि विज्ञापन का कोई कानूनी पहलू नहीं होता है. प्राइवेसी पॉलिसी तो वही है.
व्हाट्सऐप के इस पूरे विवाद के चलते जहां एक तरफ टेलीग्राम और सिग्नल जैसे मैसेजिंग प्लेटफार्म पर यूज़र्स की संख्या बेहद तेजी के साथ बढ़ रही है. वहीं, दूसरी तरफ ये भी हकीकत है कि व्हाट्सऐप यूज़र्स की निर्भरता व्हाट्सऐप पर इतनी बढ़ चुकी है कि वो इसे बड़े पैमाने पर डिलीट नहीं कर पा रहे हैं.
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