दूसरे देश में किसी अजीज़ ने गंवा दी जान, जानें शव घर लाने के लिए सरकार से कैसे मिल सकती है मदद
पहले अगर किसी भारतीय की विदेश में मृत्यु हो जाती थी. तो उसके पार्थिव शरीर को भारत लाने के लिए काफी समय लग जाता था. कई मौकों पर तो भारत सरकार को इसमें दखलअंदाजी करनी पड़ती थी.
भारत के कई लोग विदेश में काम करते हैं. कई लोग ऐसे हैं जिनके परिवार आप विदेश में ही रहने लगे हैं. लेकिन कई लोग अभी ऐसे हैं जिनके परिवार भारत में रहते हैं. ऐसे में अगर विदेश में किसी ऐसे व्यक्ति की मृत्यु हो जाए जिसका परिवार भारत में हो. तो फिर उनके लिए उसका पार्थिव शरीर भारत लाना बड़ा मुश्किल काम हो जाता है. पहले इसके लिए काफी लंबी प्रक्रिया करनी पड़ती थी. तब जाकर कहीं विदेश से परिजन पार्थिव शरीर वापस भारत ला पाते थे. लेकिन आप इसके लिए सरकार ने भी सहायता देना शुरू कर दिया है. और खास इसी कार्य के लिए सरकार ने एक पोर्टल भी बनाया है जिसके तहत इन मामलों में मदद की जाएगी.
सरकार करेगी सहायता
पहले अगर किसी भारतीय की विदेश में मृत्यु हो जाती थी. तो उसके पार्थिव शरीर को भारत लाने के लिए काफी समय लग जाता था. कई मौकों पर तो भारत सरकार को इसमें दखलअंदाजी करनी पड़ती थी. तब जाकर विदेश से परिजनों को पार्थिव शरीर मिल पाता था. लेकिन अब इसके लिए ज्यादा लंबी प्रक्रिया और ज्यादा भटकने की जरूरत नहीं पड़ेगी. क्योंकि सरकार ने अब इस कार्य के लिए नई सुविधा देना शुरू कर दिया है. पिछले साल अगस्त में भारत सरकार ने ओपन ई केयर प्लेटफॉर्म शुरू किया है.
जिससे अब किसी भारतीय नागरिक की अगर विदेश में मृत्यु हो जाती है. तो उसके पार्थिव शरीर को लाने के लिए भारतीय सरकार सहायता करेगी. इसके लिए दिल्ली के इंदिरा गांधी अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर नोडल ऑफिस भी बनाया गया है. किसी को भी अपने परिजन का पार्थिव शरीर विदेश से भारत लाना है तो उसे लिखित में आवेदन देना होगा. नोडल अधिकारी इसकी जांच करेंगे 48 घंटे के अंदर उस पर कार्रवाई करेंगे. रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर द्वारा ई केयर पोर्टल पर अपने आवेदन की स्थिति पता की जा सकती है.
ये दस्तावेज होने जरूरी
विदेश से भारत किसी का पार्थिव शरीर लाने के लिए परिजनों को नोडल ऑफिस में को जरूरी दस्तावेज दिखाने होंगे. जिसमें संबंधित शख्स का मृत्यु प्रमाण पत्र यानी डेथ सर्टिफिकेट. इसके साथ ही उसके पार्थिव शरीर को सुरक्षित रखने के लिए उसे पर लगाए गए केमिकल्स का सर्टिफिकेट. जिस देश में व्यक्ति की मृत्यु हुई है उसे देश में भारतीय दूतावास या वाणिज्य दूतावास से अनापत्ति प्रमाणपत्र यानी एनओसी. और अंत में जिसका पार्थिव शरीर लाया जा रहा है उसका रद्द किया हुआ पासपोर्ट.
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