गांव खुशहाल तो छत्तीसगढ़ खुशहाल, विकास का छत्तीसगढ़ मॉडल |ABP Uncut
भूपेश बघेल के नेतृत्व वाली छत्तीसगढ़ सरकार ने विकास का एक नया मॉडल पेश किया है. इसके तहत राज्य सरकार ने गांव-गांव में गौठान और चारागाह बनवाने शुरू किए हैं. इस पूरे प्रॉजेक्ट की देखभाल और इसे चलाने की जिम्मेदारी महिला स्वयंसमूहों की है. गौठानों में गांव के मवेशी रखे जा रहे हैं. महिलाओं की देखरेख में वर्मी कंपोस्ट बनाई जा रही है. साथ ही गोबर से कीटनाशक भी बनाया जा रहा है. इसके अलावा गौठान में खाली पड़ी ज़मीन पर खेती भी की जा रही है. इस योजना से सैकड़ों महिलाओं और बेरोजगार युवाओं को रोजगार के अवसर मिल रहे हैं. गौठान से निकले गोबर से दिए, अगरबत्ती और गमले बन रहे हैं, जिनका बाजार में खूब डिमांड है. चारागाहों में मवेशियों के चारे के अलावा सब्जियां, फूल और फलदार पौधे भी लगाए गए हैं. इसके अलावा गौठानों के पास मछली पालन और मुर्गी पालन की योजना भी बनाई गई है. ये सारी योजनाएं छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की देखरेख में शुरू हुई हैं. इसके तहत महात्मा गांधी के ग्राम स्वराज के सपने को ज़मीन पर उतारा जा रहा है. कोशिश ये है कि छत्तीसगढ़ के गांवों और वहां के लोगों को स्वावलंबी बनाया जा सके, जिससे वो किसी दूसरे पर निर्भर न रहें.