RBI Gold Fact Check: तमाम सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स पर भारतीय रिजर्व बैंक को लेकर वायरल हो रही एक हिंदी अखबार की कटिंग पर सनसनीखेज दावा किया जा रहा है. वायरल हो रही अखबार कटिंग में मोदी सरकार पर बड़ा हमला किया गया है. अखबार में छपी इस खबर के बाद चारों तरफ हंगामा मचा है कि आखिर मोदी सरकार ने इतना बड़ा कदम कैसे उठा लिया. इस मामले की गंभीरता को देखते हुए पीआईबी फैक्ट चेक ने जांच-पड़ताल करते हुए इसका पूरा सच सामने लाकर रख दिया है. आइये जानते हैं सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे इस दावे का सच क्या है?
सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा दावा
अखबार में छपी हुई खबर के दावे के मुताबिक, भारतीय रिजर्व बैंक का 200 टन सोना चोरी-छुपे विदेश भेज दिया गया है और 268 टन सोना गिरवी रखा गया है. इतना ही नहीं, वायरल हो रही अखबार की कटिंग में दावा किया जा रहा है कि इस पूरे मामले को मोदी सरकार ने गुप्त रखा हुआ है. वहीं, इसको लेकर नवनीत चतुर्वेदी नाम के शख्स ने गोल्ड रिजर्व को लेकर एक आरटीआई भी दाखिल की थी.
वायरल दावे की सच्चाई
पीआईबी फैक्ट चेक ने अपनी जांच-पड़ताल में पाया कि भारतीय रिजर्व बैंक का 200 टन सोना विदेश भेजने और 268 टन सोना गिरवी रखने का दावा पूरी तरह से फर्जी है. इसको लेकर पीआईबी फैक्ट चेक ने अपने ट्विटर हैंडल से एक ट्वीट भी किया है. जिसमें अखबार की कटिंग को पोस्ट करते हुए लिखा गया है कि यह दावा फर्जी है. भारतीय रिजर्व बैंक ने इन खबरों को तथ्यात्मक रूप से गलत बताया है.
ट्विटर पर शेयर किया प्रेस रिलीज का लिंक
पीआईबी फैक्ट चेक ने अपने ट्विटर पर भारतीय रिजर्व बैंक की एक प्रेस रिलीज का लिंक भी शेयर किया है. जो मई, 2019 में रिजर्व बैंक ने जारी की थी. भारतीय रिजर्व बैंक की इस प्रेस रिलीज में बताया गया है कि विश्व भर के केंद्रीय बैंक अपनी गोल्ड रिजर्व के सुरक्षित कस्टडी के लिए उन्हें विदेशों में रखते हैं. साल 2014 और उसके बाद भारतीय रिजर्व बैंक ने किसी भी तरह का सोना भारत से दूसरे देशों में शिफ्ट नहीं किया है.
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