कांवड़ यात्रा उत्तर भारत में विशेष रूप से लोकप्रिय है

सावन की शुरुआत 22 जुलाई से हो रही है ऐसे में लोग भगवान शिव को जलाभिषेक करते हैं

क्या आप जानते हैं कि कितनी तरह की होती है कांवड़ यात्रा?

कांवड़ यात्रा मुख्य रूप से चार प्रकार की होती है  

सामान्य कांवड़ , डाक कावड़ खड़ी कांवड़ और दांडी कांवड़ यात्रा

डाक कांवड़ सबसे कठिन माना जाता है

इस यात्रा में  एक बार कांवड़ उठा लेने में कहीं भी रुकना नहीं होता है

डाक कांवड़   भगवान शिव के जलाभिषेक करने के बाद ही रुकते हैं

सामान्य कांवड़ में यात्री जहां चाहे रुककर आराम कर सकते हैं

बस उन्हें कांवड़ जमीन पर नहीं  रखना होता है.