एमपी में बहने वाली चंबल नदी देश की श्रापित नदियों में से एक है

इसमें नहाने से मानव अपवित्र हो जाता है

यहां स्नान करना पाप का भागी बनने की वजह माना जाता है

कहा जाता है इस नदी का उद्गम जानवरों के खून से है

यहां राजा रंतिदेव के यज्ञों में निर्दोष जानवरों के रक्त और सामग्री से ये श्रापित है

इसलिए ही यहां स्नान करने से पुण्य नही होता

इस नदी का जिक्र महाभारत की कथा में भी किया गया है

कहा जाता है द्रौपदी के श्राप के कारण भी इसे श्रापित माना जाता है

इस नदी का पानी देश की अन्य नदियों के मुकाबले जलीय जीवों के अनुकूल है

इस नदी में सबसे ज्यादा जलीय जीवों को संरक्षण मिल पाता है.