मुगल सम्राट औरंगजेब ने अपनी बहन के आशिक को 60 फीट की ऊंचाई से नीचे फिंकवा दिया था



इस कहानी का जिक्र अनीशा शेखर ने अपनी किताब द रेड फोर्ट ऑफ शाहजहानाबाद एंड आर्किटेक्चरल हिस्ट्री में किया है



लेखिका ने बताया है कि औरंगजेब की एक बहन थी, उसका नाम रौशन आरा था



रौशन आरा का एक प्रेमी था, जिससे वह छुप-छुप कर मिला करती थी



एक बार औरंगजेब की बहन नौकरानियों की मदद से अपने प्रेमी को छुप-छुपाकर लाल किला के अंदर लेकर आई



रौशन आरा का प्रेमी कुछ दिनों तक उनके पास ही महल के अंदर रहा. उसके महल से बाहर जाने का समय आ गया था, इसकी जिम्मेदारी नौकरानियों को दी गई



नौकरानियों ने उस लड़के को बीच रास्ते में ही छोड़ दिया. लड़का रात भर भटकता रहा, लेकिन उसे बाहर जाने का रास्ता नहीं मिला



इस दौरान वह सैनिकों की पकड़ में आ गया. अगली सुबह उसे बादशाह औरंगजेब के सामने पेश किया गया



औरंगजेब ने गुस्से में लड़के से हरम के अंदर जाने की वजह पूछी. लड़के ने जवाब दिया कि हुजूर कोतोहल वाली दीवार पर चढ़ रहा था गलती से हरम में पहुंच गया



यह सुनने के बाद औरंगजेब ने सजा सुनाई कि जिस रास्ते से आए हो उसी रास्ते से वापस जाओ. बादशाह की बात सुनने के बाद सैनिकों ने उस लड़के को 60 फीट की ऊंचाई से नीचे फेंक दिया