'प्यार की निशान' कहा जाता है आगरा में बना ताजमहल



मुगल सम्राट शाहजहां ने अपनी पत्नी मुमताज महल की याद में बनवाया था ताज



ताज का निर्माण साल 1632 में शुरू होकर 1648 को पूरा हुआ



इंडो-इस्लामिक कब्रगाह वास्तुकला के बेहतरीन उदाहरण में से है एक



दुनियाभर में ताजमहल जैसी दूसरी इमारत का नहीं हो पाया है निर्माण



इसी वजह से ताज को दुनिया के सात अजूबों में शामिल किया गया



उस्ताद अहमद लाहौरी ने ताज का किया था डिजाइन



कहा जाता ​​है कि 20 हजार मजदूरों मिलकर बनाया ताज



साल 2007 में दुनिया के 7 अजूबों में शामिल किया गया



1983 में यूनेस्को ने विश्व धरोहर की श्रेणी में किया था नामित