अगर कोई इंसान चांद पर बर्गर खाने की कोशिश करेगा तो क्या होगा. इसका जवाब What if YouTube चैनल ने दिया है.
उन्होंने बताया कि चांद की ग्रेविटी पृथ्वी से 6 गुना कम है, जिससे बर्गर खाने का प्रोसेस काफी स्लो हो जाएगा


चांद पर तापमान -200°C से -100°C तक गिर सकता है. इतनी ठंड में बर्गर का आकार सख्त हो सकता है



सख्त बर्गर खाने से कई अन्य परेशानियां हो सकती हैं



चांद पर ठंड होने की वजह से बर्गर को चबाना और खाने में मुश्किल होगी



चांद पर हवा नहीं होती, इसलिए बर्गर को खास एयरटाइट पैकिंग में रखना जरूरी है



चांद पर बिना पैकिंग के बर्गर बिखर सकता है, जो खाने में बड़ी चुनौती बन सकता है



चांद पर ऑक्सीजन नहीं है, इसलिए सांस लेने के लिए ऑक्सीजन मास्क की जरूरत पड़ेगी



चांद पर बिना ऑक्सीजन के खाने का सवाल ही नहीं उठता, क्योंकि इंसान वहां जिंदा नहीं रह सकता



कम गुरुत्वाकर्षण के कारण सॉस का इस्तेमाल चुनौती भरा होगा. सॉस हवा में तैर सकती है और बर्गर को गंदा कर सकती है



चांद पर धूल बर्गर पर नहीं जमेगी क्योंकि हवा नहीं है, लेकिन खाने के बाद हाथ और मुंह साफ करना मुश्किल होगा